Railtel Share Price 02 सितम्बर 2024 : भारत सरकार से ‘नवरत्न’ (Navratna) का दर्जा मिलने के बाद, पीएसयू कंपनी रेलटेल कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया के शेयरों में सोमवार, 2 सितंबर को सुबह के सत्र के दौरान मजबूत खरीदारी रुचि देखी गई। 30 अगस्त को वित्त मंत्रालय ने रेलटेल के साथ तीन अन्य सरकारी कंपनियों को भी नवरत्न का दर्जा दिया। ये तीन कंपनियां सतलुज जल विद्युत निगम (SJVN) नेशनल हाइड्रोइलेक्ट्रिक पावर कॉर्पोरेशन (NHPC) सोलर एनर्जी कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (SECI) हैं। SECI को छोड़कर बाकी की तीन कंपनियां शेयर बाजार में लिस्टेड है।
Railtel का शेयर 5 प्रतिशत उछला, इंट्राडे हाई पर पहुंचा
NSE निफ्टी पर आज रेलटेल का शेयर बढ़त के साथ 512.60 प्रति शेयर के भाव पर खुला। बाजार खुलते ही निवेशक खरीदारी के लिए इस शेयर पर टूट पड़े और कुछ ही मिनटों में शेयर 5 प्रतिशत बढ़कर 514.50 रुपये के इंट्राडे हाई पर पहुंच गया। शेयर का पिछला बंद भाव 490.80 रुपये था।
वहीं, BSE सेंसेक्स पर शेयर 510.10 रुपये के भाव पर खुले थे। शेयर 5 प्रतिशत की तेजी के साथ 515.60 रुपये के इंट्रा-डे हाई को छूने में सफल रहा। रेलटेल का 52 सप्ताह का हाई 618 रुपये है। हालांकि शेयर की कीमतों में फिर से नरमी देखने को मिल रही है। खबर लिखे जाते समय शेयर BSE पर, 1.87 प्रतिशत की तेजी के साथ 500 रुपये के भाव पर था।
22वीं नवरत्न कंपनी बनी Railtel, एनुअल टर्नओवर 2,622 करोड़ रुपये
रेल मंत्रालय के तहत काम करने वाली पीएसयू कंपनी रेलटेल देश की 22वीं नवरत्न कंपनी बन गई है। कंपनी ने इसकी जानकारी देते हुए सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स (पूर्व में ट्विटर) पर लिखा, “हमें यह बताते हुए खुशी हो रही है कि रेलटेल नवरत्न का दर्जा पाने वाला 22वां सीपीएसई बन गया है। हम ईमानदारी से रेल मंत्रालय, वित्त मंत्रालय, डीपीई, डीओटी, एमईआईटीवाई और हमारे सभी हितधारकों को उनके समर्थन के लिए धन्यवाद देते हैं जिन्होंने हमें इस उल्लेखनीय मील के पत्थर को हासिल करने में मदद की।”
सार्वजनिक उद्यम विभाग (DPI) ने अपने बयान में कहा कि रेलटेल कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया देश का 22वां नवरत्न सीपीएसई है। कंपनी का एनुअल टर्नओवर 2,622 करोड़ रुपये है। FY24 में इसका नेट प्रॉफिट 246 करोड़ रुपये था।
नवरत्न कंपनियां क्या हैं?
सरकारी कंपनियों को महारत्न, नवरत्न और मिनीरत्न कंपनियों में बांटा गया है। नवरत्न का दर्जा उन सरकारी उद्यमों को प्रदान किया जाता है जिन्हें पहले ‘मिनीरत्न’ श्रेणी I के रूप में वर्गीकृत किया गया था, और यह उनकी शानदार फाइनैंशियल और मार्केट परफॉर्मेंस को मान्यता देने के लिए दिया जाता है।
1997 में, सरकार ने तुलनात्मक लाभ वाले सीपीएसई का चयन करने और उन्हें वैश्विक दिग्गज बनने में मदद करने के लिए नवरत्न योजना शुरू की। नवरत्न का दर्जा कंपनियों को तेजी से निर्णय लेने, बढ़ी हुई दक्षता और अधिक सशक्तिकरण के साथ सशक्त बनाता है।
इन कंपनियों को विदेशों में संयुक्त उद्यम स्थापित करने, नए बाजारों तक पहुंचने और स्थानीय विशेषज्ञता का लाभ उठाने की आजादी दी गई है। इसके अलावा, यह तकनीकी गठजोड़ के माध्यम से इनोवेशन को बढ़ावा देगा, बाजार की स्थिति को मजबूत करेगा और विलय और अधिग्रहण (M&A) की सुविधा प्रदान करेगा, जिससे बाजार हिस्सेदारी में वृद्धि के साथ विकास होगा।
निवेशकों को 1 साल में दिया 155% से ज्यादा का रिटर्न
पिछले एक साल में रेलटेल के शेयरों में 155.8 प्रतिशत से अधिक की बढ़ोतरी हुई है। रेलटेल देश की सबसे बड़ी टेलीकॉम इंफ्रास्ट्रक्चर कंपनियों में शुमार है। यह एकमात्र कंपनी है, जिसके पास रेलवे ट्रैक के साथ-साथ ऑप्टिक फाइबर नेटवर्क बिछाने का विशेष राइट ऑफ वे (RoW) है।
2000 में रेलटेल एक मिनी रत्न कंपनी के तौर पर अस्तित्व में आई थी। कंपनी का उद्देश्य ट्रेन नियंत्रण परिचालन और भारतीय रेलवे के सुरक्षा तंत्र को आधुनिक बनाने के लिए राष्ट्रव्यापी ब्रॉडबैंड, टेलीकम्युनिकेशन एवं मल्टीमीडिया नेटवर्क का संचालन करना है।