Vinod Kambli News 24 दिसंबर 2024 (भारत बानी ब्यूरो ) -: भारतीय टीम के बैटर रहे विनोद कांबली इस वक्त खराब सेहत के चलते अस्पताल में भर्ती हैं. बताया जा रहा है कि उन्हें ब्रेन क्लॉट की बीमारी है. एक वक्त पर भारतीय टीम के बड़े सितारे रहे कांबली बेहद कम उम्र में पहले फर्श से अर्श तक पहुंचे. इसी तर्ज पर उनका करियर समाप्त होने में ज्यादा वक्त नहीं लगा. सचिन के दोस्त के रूप में पहचाने जाने वाले 52 साल के विनोद कांबली को नशे की लत ने इस कदर घेर लिया कि केवल उनकी शादीशुदा जिंदगी ही नहीं बल्कि सबकुछ बर्बाद हो गया. एक बार तो वो 10 पैग पीने के बाद मैच खेलने के बाद मैदान में उतर गए थे. चलिए हम आपको इस किस्से के बारे में बताते हैं.
विनोद कांबली ने एक इंटरव्यू के दौरान रात को 10 पैग शराब पीने के बाद सुबह रणजी ट्रॉफी का मैच खेलने की बात बताई थी. इतना ही नहीं इस मैच में कांबली ने शतक भी ठोक दिया था. विनोद कांबली ने मिड डे को दिए एक इंटरव्यू में कहा था कि उन्हें शराब के लती नहीं हैं, वो केवल एक सोशल ड्रिंकर हैं. जरुरत से ज्यादा शराब पीने के सवाल पर उन्होंने कहा था कि कौन ऐसा नहीं करता है. आज के दौर में सब लोग शराब पीते हैं. इस दौरान ही कांबली ने शराब पीने के बाद शतक जड़ने वाले किस्से का भी खुलासा किया था.
रात को लगाए थे 10 पैग
विनोद कांबली ने कहा कि एक बार मैंने रात में 10 पैग शराब पी ली थी. हमारे कोच बलविंदर सिंह संधू परेशान थे कि क्या मैं इतनी शराब पीने के बाद समय पर उठू पाऊंगा. मैं ना सिर्फ सुबह उठा और इस रणजी ट्रॉफी मैच में शतक भी ठोक दिया था. कोच भी हैरान थे कि कांबली ने ऐसा कैसे कर दिया. मैं शारदाश्रम स्कूल जाता था, जहां टीम से मिलने पर खाना खाता था. विनोद कांबली टीम इंडिया में एक हसमुख खिलाड़ी के रूप में जाने जाते थे. एक बार उन्होंने टीम कोच से मजाक-मजाक में पूछ लिया था कि आप मुझे क्रिकेट की तकनीक सिखा रहे हो. पहले ये बताओ कि आपने अपने करियर में कितने शतक लगाए हैं.
इस मामले में सचिन से भी आगे रहे विनोद कांबली
विनोद कांबली ने साल 1991 में शारजहा में पाकिस्तान के खिलाफ खेले गए मैच से अंतरराष्ट्रीय क्रिकेट में डेब्यू किया था. दो साल बाद ईडन गार्डन्स में इंग्लैंड के खिलाफ मैच से उन्हें टेस्ट डेब्यू का मौका मिला. अंतरराष्ट्रीय डेब्यू के महज चार साल बाद उनका टेस्ट करियर खत्म भी हो गया. हालांकि साल 2000 तक वो वनडे में सक्रिय रहे. काबंली ने 17 टेस्ट मैच खेलने में 54.20 की औसत से खेलते हुए चार शतक और दो दोहरे शतक लगाए. उनकी टेस्ट औसत 200 टेस्ट मैचों खेल चुके में सचिन का औसत 53.78 से भी ज्यादा रही. वनडे में कांबली ने 104 वनडे 32 की औसत से 3443 रन बनाए.