Tejashwi Yadav

01 अप्रैल 2025 ( (भारत बानी ब्यूरो): बिहार में विधानसभा चुनाव 2025 से पहले ही राज्य में सियासी माहौल गरमाने लगा है. विपक्षी दल इंडिया गठबंधन और विशेष रूप से आरजेडी यह दावा कर रही है कि अगली सरकार उनकी होगी. लेकिन, हाल ही में पटना यूनिवर्सिटी छात्रसंघ (PUSU) चुनाव के नतीजों ने तेजस्वी यादव और उनकी पार्टी को बड़ा झटका दिया है. युवाओं को रोजगार और बेहतर भविष्य का सपना दिखाकर तेजस्वी यादव 2025 की चुनावी नैया पार लगाने की कोशिश में तो लगे हैं. लेकिन उनका “NY (नौकरी और युवा) फैक्टर” पटना यूनिवर्सिटी छात्रसंघ चुनाव में तो पूरी तरह से फेल हो गया.

अब सवाल उठता है कि जब युवाओं ने ही आरजेडी को नकार दिया, तो क्या वे 2025 में बिहार की जनता का भरोसा जीत पाएंगे? पटना यूनिवर्सिटी छात्रसंघ चुनाव को बिहार की राजनीति का मिनी ट्रायल कहा जाता है। इस चुनाव में छात्रों ने आरजेडी को पूरी तरह से नकार दिया. तेजस्वी यादव ने युवाओं के लिए रोजगार, शिक्षा और सरकारी भर्तियों में तेजी लाने का वादा किया था, लेकिन उनकी यह रणनीति काम नहीं आई.

PUSU चुनाव में क्यों फेल हुई आरजेडी?

1. क्या युवाओं का हुआ मोहभंग?

2. छात्र संघ चुनाव में ABVP की पकड़

3. कांग्रेस का बेहतर प्रदर्शन

4. आरजेडी छात्र विंग की कमजोरी

एनडीए का तंज, आरजेडी का पलटवार

PUSU चुनाव के नतीजों के बाद बीजेपी और जेडीयू ने तेजस्वी यादव पर तीखे हमले किए. जेडीयू प्रवक्ता अभिषेक झा ने कहा, “युवाओं ने यह संदेश दे दिया है कि उन्हें तेजस्वी यादव पर भरोसा नहीं है. यह तो सिर्फ ट्रेलर था, 2025 में पूरी फिल्म देख लीजिएगा.” बीजेपी प्रवक्ता असितनाथ तिवारी ने तंज कसते हुए कहा, “तेजस्वी यादव को अपनी सीट बचाने की चिंता करनी चाहिए, क्योंकि 2025 में उनकी पार्टी का सूपड़ा साफ हो जाएगा.” वहीं, आरजेडी ने भी पलटवार किया. आरजेडी नेता शक्ति सिंह यादव ने कहा, “बीजेपी और जेडीयू के नेता तेजस्वी यादव की चिंता छोड़कर अपनी सरकार बचाने की फिक्र करें। विधानसभा चुनाव में इन्हें हकीकत का पता चल जाएगा।”

अब 2025 के लिए क्या करेंगे तेजस्वी?

अब बड़ा सवाल यह है कि तेजस्वी यादव मिशन 2025 के लिए अपनी रणनीति कैसे तैयार करेंगे?
1. युवाओं को दोबारा जोड़ने की कोशिश करनी होगी.
2. नौकरी, शिक्षा और सरकारी भर्तियों पर ठोस प्लान पेश करना होगा.
3. मुस्लिम-यादव समीकरण से आगे बढ़कर सभी वर्गों को जोड़ना होगा.
4. एनडीए की रणनीति को काउंटर करने के लिए मजबूत प्रचार अभियान चलाना होगा.
5. कांग्रेस और अन्य सहयोगी दलों के साथ समन्वय बेहतर करना होगा.

क्या 2025 में तेजस्वी का सपना पूरा होगा?

PUSU चुनाव के नतीजों ने यह इशारा कर दिया है कि तेजस्वी यादव के लिए राह आसान नहीं होगी. अगर वे युवाओं को दोबारा जोड़ने में नाकाम रहे, तो 2025 में सत्ता का सपना देखना मुश्किल हो सकता है. अब यह देखना दिलचस्प होगा कि तेजस्वी इस हार से सबक लेकर अपनी रणनीति में बदलाव करते हैं या नहीं.

सारांश: पटना यूनिवर्सिटी छात्रसंघ चुनाव में आरजेडी की हार से तेजस्वी यादव को झटका लगा है. युवाओं ने उन्हें नकार दिया, जिससे 2025 के विधानसभा चुनाव में उनकी राह मुश्किल हो सकती है.

Bharat Baani Bureau

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