नई दिल्ली 27 अक्टूबर 2025 (भारत बानी ब्यूरो ) : भारतीय क्रिकेट टीम के पूर्व दिग्गज ऑलराउंडर इरफान पठान 41 साल के हो गए हैं. एक समय था जब इरफान पठान को स्विंग का सुल्तान कहा जाता था, लेकिन जिस तेजी के साथ इरफान के करियर का ग्राफ ऊपर की ओर चढ़ा था, उतनी ही तेजी से वह नीचे भी आया. हालांकि अब वह कमेंट्री में एक सफल करियर बना चुके हैं और रिटायर प्लेयर्स की लीग में भी खेलते हुए नजर आते हैं, लेकिन सवाल ये उठता है कि आखिर ऐसा क्या हुआ कि भारतीय टीम में इरफान पठान जिस सफलता के हकदार थे वो उन्हें नहीं मिल पाया.
वैसे तो इरफान पठान की पहली पहचान एक तेज गेंदबाज की थी, लेकिन उनके अंदर एक बेहतरीन बल्लेबाज का भी कौशल था. उन्होंने टीम इंडिया के लिए गेंदबाजी के साथ-साथ कई मौकों पर बल्लेबाजी से भी अहम योगदान दिया. इसकी वजह से इरफान पर एक ऑलरांडर का टैग लगा, लेकिन यही चीज कुछ हद तक उनके करियर के पतन का भी कारण बना. हालांकि, टीम के अंदर की राजनीति ने भी उनके लिए रुकावटे पैदा की, खास तौर से ग्रेग चैपल के कोचिंग के दौरान.
क्या धोनी की वजह से करियर हुआ था बर्बाद
इरफान पठान ने कुछ महीने पहले अपने करियर को लेकर एक इंटरव्यू में खुलकर बात की थी. इस इंटरव्यू में धोनी को लेकर उनसे कुछ सवाल पूछे गए थे, जिसके जवाब में इरफान ने बिना धोनी का नाम लिए इशारा किया था कि टीम इंडिया से बाहर होने के पीछे वे भी एक कारण रहे हैं. हालांकि, ये टीम का अदरुनी मामला था, लेकिन कुछ क्रिकेट एक्सपर्स्ट्स का ये भी मानना है कि इरफान का करियर उनकी बैटिंग की वजह से ढालन की ओर चला गया. ग्रेग चैपल जब टीम इंडिया के कोच बने थे तो उन्होंने इरफान को गेंदबाजी से ज्यादा बल्लेबाजी पर ज्यादा ध्यान केंद्रित कराया.
जैसे-जैसे इरफान ने बल्लेबाजी पर फोकस करना शुरू किया उनकी गेंदबाजी की धार कम होती चली गई. चुकी इरफान बॉलिंग ऑलराउंडर थे। ऐसे में टीम में पहली भूमिका एक तेज गेंदबाज की थी, लेकिन उनके बल्लेबाजी पर फोकस करने के कारण टीम का संतुलन नहीं बैठ रहा था. इस वजह से भी उनका करियर बर्बादी की ओर चला गया ऐसा कहा जाता है.
3 गेंद में पाकिस्तान की इज्जत किया था मटियामेट
वैसे तो इरफान पठान के करियर से जुड़ी कई तरह की उपलब्धि है, लेकिन पाकिस्तान में साल 2006 कराची टेस्ट में लिए गए उनकी हैट्रिक फैंस कभी नहीं भूल पाएंगे. पाकिस्तान दौरे पर इरफान पठान ने 29 जनवरी को कराची के नेशनल स्टेडियम में लगातार तीन गेंद पर तीन विकेट लेकर सनसनी मचा दी थी. टेस्ट क्रिकेट के इतिहास में इरफान दुनिया के पहले ऐसे तेज गेंदबाज हैं जिन्होंने पारी के पहले ओवर में हैट्रिक लेने का कारनामा किया.
इरफान ने अपने ओवर की अंतिम तीन गेंद पर पहले सलमान बट, यूनुस खान और मोहम्मद युसूफ को आउट किया था. इस तीन गेंद से पाकिस्तान की उसके घर में इज्जत मटियामेट हो गई थी. इस हैट्रिक के बाद से ही इरफान पठान को भारत के स्विंग का सुल्तान का तमगा मिला था.
इरफान पठान का करियर
इरफान पठान के करियर की बात करें तो उन्होंने साल 2003 में टीम इंडिया के लिए डेब्यू किया था. टीम इंडिया के लिए इरफान ने 29 टेस्ट, 120 वनडे और 24 टी20 मैचों में मैदान पर उतरे. टेस्ट क्रिकेट में इरफान पठान ने 100 विकेट लेने के साथ 1105 रन भी बनाए, जिसमें 1 शतक और 2 अर्धशतक शामिल है. वहीं वनडे की बात करें तो उन्होंने 1544 रन बनाकर 173 विकेट भी झटके, जबकि टी20 में उनके नाम 28 विकेट हैं.
सारांश:
इरफान पठान, जिन्होंने तीन गेंदों में पाकिस्तान की इज्जत मिट्टी में मिला दी थी, कभी टीम इंडिया के स्टार ऑलराउंडर रहे। लेकिन लगातार चोटों, टीम चयन में विवाद और फॉर्म गिरने के कारण उनका करियर जल्दी खत्म हो गया। आज भी फैन्स उन्हें उनके स्विंग और जुनून के लिए याद करते हैं।
